मोदी जी का मास्टर स्ट्रोक
पहले दिन संसद की सीढ़ी पर दण्डवत प्रणाम किया और ख़बरों में छा गए, बाद में उसी संसद भवन को ग़ुलामी का प्रतीक बताया गया और करोड़ों रुपया झोंककर नया संसद भवन बनवाया गया। मतलब जिसे प्रणाम किया, वो बर्बाद। बिना वीज़ा के पाकिस्तान चले गए, केक खाया और बताया गया कि पाकिस्तान पर मास्टर स्ट्रोक लगाकर दुश्मनी को दोस्ती में बदल दिया। ओबामा को मुख्य अतिथि बनाया गया, बताया कि ओबामा पुराना दोस्त है। उससे अबे तबे की भाषा में बात करते हैं। फिर ओबामा को दोस्ती से बेदखल करके ट्रंप को दोस्त नियुक्त कर दिया। उसका चुनाव प्रचार भी किया। बाद मे वो दोस्त अमरीका में गिरफ्तार होने वाला पहला पूर्व राष्ट्रपति बना। चीन के राष्ट्रपति को गुजरात ले जाकर झूला झुलाया। ख़बर चली कि साहब के मास्टर स्ट्रोक से चीन के साथ नेहरू कालीन दुश्मनी ख़त्म हुई। बाद मे चीन ने पर्सनल नक्शे जारी करके अरुणाचल को अपना हिस्सा कहना शुरु कर दिया। अचानक टीवी पर आकर नोट बंद कर दिए। खबर चली कि इस मास्टर स्ट्रोक से आतंकवाद और काला धन हमेशा के लिए ख़त्म हो जाएगा। बाद मे पुलवामा और उरी जैसे कांड हो गए। मतलब आतंकवाद नहीं मिटा। ईडी रो